पबजी जैसे बैटल ग्राउंड गेम बच्चों के दिमाग में कितना असर डाल सकता है इसका अंदाजा लखनऊ में हुई घटना से लगा सकते हैं। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में गेम खेलने से मना करने पर बच्चे ने आत्महत्या कर ली।
बच्चों में ऑनलाइन गेम की दीवानगी का पागलपन में बदलने मामला लखनऊ के हुसैनगंज थाना क्षेत्र के चितवापुर इलाके का है। यहां कोमल नाम की महिला अपने 10 साल के बेटे आरुष और 12 साल की बेटी के साथ रहती है। यहां छोटा बेटा आरुष मोबाईल की लत के कारण कई दिनों से स्कूल नहीं जा रहा था। आरूष दिनभर मोबाइल पर ऑनलाइन गेम खेलता रहता था। इस पर कोमल ने बेटे को कई बार समझाया और स्कूल जाने के लिए कहा लेकिन वह नहीं माना। इसके बाद कोमल ने अपने बच्चे की पिटाई कर दी और उसके हाथ से मोबाइल छीन लिया। इसी बीच महिला दूसरे कमरे में गयी तो आरुष ने गुस्से में अपनी बहन विदिशा को बाहर भेजकर कमरे का दरवाजा बंद कर लिया।
काफी देर तक आरूष ने दरवाजा नहीं खोला तो परिजनों ने आवाज लगाई। जवाब नहीं मिलने पर दरवाजे को तोड़ा गया तो अंदर का मंजर देख परिजनों के होश उड़ गये। कमरे के अंदर मासूम फंदे से लटका हुआ था। कमरे के अंदर का मंजर देखकर घरवालों के पैरों से जमीन खिसक गई। आनन-फानन में आरुष को नीचे उतारा गया, लेकिन तब तक उसकी मौत हो चुकी थी।
डीसीपी सेंट्रल जोन अपर्णा रजत कौशिक ने बताया कि बच्चे ने सुसाइड किया हैं। मां की तरफ से कोई तहरीर नहीं दी है। उन्होंने बताया कि बच्चा मोबाइल पर गेम खेलता था और मां उसे फटकार लगाती थी। इसी बात से नाराज होकर बच्चे ने यह खौफनाक कदम उठाया.