अल्मोड़ा। हवालबाग विकासखंड के शीतलाखेत स्थित प्रसिद्ध स्याही देवी मंदिर में नये साल के अवसर पर पूजा-पाठ और विशाल भंडारे का आयोजन किया गया। हजारों की संख्या में पहुंचे भक्तों और श्रद्धालुओं ने माता के दर्शन व आशीर्वाद लेकर नए साल के पहले दिन की शुरुआत की। स्याही देवी मंदिरों में नए साल का स्वागत विशेष पूजा-पाठ से किया गया। नये साल के पहले दिन स्याही देवी मंदिर भक्तों और श्रद्धालुओं के भजन कीर्तन, जयकारों और घंटियों की आवाज से गुंजायमान रहा। यहां व्यापार मंडल और स्थानीय लोगों के सहयोग से विशाल भंडरे का आयोजन किया गया। दूर दराज के गांव से आये भक्तों, श्रद्धालुओं और पर्यटकों ने प्रसाद ग्रहण किया।
आपको बता दें कि हवालबाग विकासखंड के शीतालाखेत में स्याही देवी मंदिर स्थापित है। कुमाऊँ की संस्कृति को प्रदर्शित करते स्याही देवी मंदिर की स्थापना 1204 ई0 में की गयी है। यहां साल के पहले दिन स्याही देवी में भंडारा, भजन कीर्तन सहित तमाम भक्ति आयोजन होते हैं। माता शीतला देवी मंदिर में दाल चावल का भोज लगाया जाता है। मंदिर के निकट भैरव मंदिर है। जहां पर खिचड़ी का भोग लगाया जाता है।
मान्यता है कि स्याही देवी की पूजा के बाद जब तक भैरव जी के दर्शन नहीं करते हैं तो पूजा अधूरी मानी जाती है। इसलिए दोनों के दर्शन करना आवश्यक है।